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पुराने संसद भवन को ‘संविधान सदन’ के नाम से जाए.. पीएम मोदी ने दिया सुझाव

देश के नए संसद भवन की इमारत का आज (19 सितंबर) श्रीगणेश हो गया है। नई संसद में विशेष सत्र की कार्यवाही भी शुरू हो गई है। सदन की कार्यवाही से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सेंट्रल हॉल में सांसदों को संबोधित किया। पीएम मोदी ने विदाई भाषण में पुराने संसद भवन की इमारत के नाम का सुझाव दिया।

‘संविधान सदन’ के रूप में जाना जाएगा पुराना संसद भवन

पुराना संसद भवन अब ‘संविधान सदन’ के रूप में जाना जाएगा। संसद के विशेष सत्र के दौरान पीएम मोदी ने यह सुझाव दिया। पीएम मोदी ने कहा कि मेरा एक सुझाव है। अब जब हम नई संसद में जा रहे हैं तो पुरानी संसद भवन गरिमा कभी कम नहीं होनी चाहिए। इसे सिर्फ पुरानी संसद भवन बनकर नहीं छोड़ देना चाहिए। इसलिए मेरा आग्रह है कि यदि आप सहमत हैं तो इसे ‘संविधान सदन’ के नाम से जाना जाना चाहिए।

चार हजार से ज्यादा बिल पारित हुए

पुराने संसद भवन की इमारत दुनिया के सबसे बड़े लिखित संविधान का साक्षी बनी है। इस भवन में देश का राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा अपनाया गया। इस भवन में देश का राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा अपनाया गया। इस सदन में बुक्तेशवर दत्त और भगत सिंह जैसे क्रांतिवीरों ने आजादी की अलख को जलाए रखा। इस इमारत ने आधुनिक भारत से लेकर मेक इन इंडिया तक का सफर देखा है। इस सदन में 4000 से ज्यादा बिल पारित हुए हैं। 86 बार राष्ट्रपति का संबोधन हुआ है। 200 से ज्यादा बार विदेशी प्रतिनिधियों ने संबोधिन दिया है। पुरानी संसद भवन आने वाली पीढ़ियों के लिए एक विरासत के रूप में बहुत कुछ याद दिलाएंगी।

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