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विश्व स्वास्थ्य दिवस पर पीएम मोदी ने मोटापे को लेकर जताई चिंता, कहा- ‘तेल का उपयोग कम करें’

World Health Day 2025 : आज यानी 7 अप्रैल को विश्व स्वास्थ्य दिवस मनाया जा रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को विश्व स्वास्थ्य दिवस के मौके पर मोटापे को लेकर चिंता जताई। इस दौरान उन्होंने देशवासियों से स्वस्थ जीवनशैली अपनाने और मोटापे से बचने की अपील की। उन्होंने कहा कि व्यक्तिगत फिटनेस को प्राथमिकता देना भारत के विकसित राष्ट्र बनने के लक्ष्य में अहम योगदान करेगा।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर पोस्ट करते हुए लिखा, विश्व स्वास्थ्य दिवस पर, आइए हम एक स्वस्थ विश्व के निर्माण के लिए अपनी प्रतिबद्धता की पुष्टि करें। हमारी सरकार स्वास्थ्य सेवा पर ध्यान केंद्रित करती रहेगी और लोगों की भलाई के विभिन्न पहलुओं में निवेश करती रहेगी। अच्छा स्वास्थ्य हर समृद्ध समाज की नींव है।

पीएम मोदी ने पुरानी कहावत याद दिलाई

एक वीडियो संदेश में प्रधानमंत्री ने सदियों पुरानी कहावत, “आरोग्यम् परमम् भाग्यम्! अर्थात स्वास्थ्य ही परम सौभाग्य और परम धन है” को याद दिलाया और भारत में बढ़ते मोटापे के संकट पर चिंता जताई। उन्होंने कहा, आजकल हमारी जीवनशैली हमारे स्वास्थ्य के लिए बड़ा खतरा बनती जा रही है। हाल ही में मोटापे की समस्या पर एक रिपोर्ट आई है, और इस रिपोर्ट के अनुसार, 2050 तक 44 करोड़ से ज्यादा भारतीय मोटापे से ग्रसित होंगे। यह चिंता की बात है, यह कितना बड़ा संकट बन सकता है।

पीएम मोदी ने स्वस्थ आहार अपनाने की कही बात

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संदेश में यह भी कहा कि स्वस्थ आहार की आदतें अपनाना, जैसे तेल का कम उपयोग, सिर्फ एक व्यक्तिगत निर्णय नहीं, बल्कि हमारी सामाजिक जिम्मेदारी भी है। उन्होंने इस समस्या को रोकने के लिए तत्काल कदम उठाने की अपील की और एक सरल सुझाव दिया: “मैं आज आपसे एक वादा लेना चाहता हूं कि हम सभी अपने खाना पकाने के तेल में 10 प्रतिशत की कमी करें। यह मोटापे को कम करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम होगा।”

उन्होंने लोगों से अपनी दिनचर्या में नियमित शारीरिक गतिविधि जोड़ने की अपील की और कहा, “हमें व्यायाम को अपनी जीवनशैली का हिस्सा बनाना होगा। अगर हम खुद को फिट रखते हैं, तो यह विकसित भारत की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम होगा।” प्रधानमंत्री मोदी हमेशा मोटापे और जीवनशैली से जुड़ी बीमारियों के खिलाफ जागरूकता बढ़ाने के लिए सक्रिय रहे हैं।

पीएम मोदी ने स्वस्थ जिवनशैली के महत्व पर दिया जोर

अपने मासिक रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ के एक एपिसोड में, प्रधानमंत्री मोदी ने वैश्विक खेल क्षेत्र में भारत की प्रगति की सराहना की और स्वस्थ जीवनशैली के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने अपने संबोधन में एक गंभीर स्वास्थ्य प्रवृत्ति का जिक्र किया था, जिसमें डब्ल्यूएचओ के आंकड़ों के आधार पर भारत में मोटापे के बढ़ते मामलों को रेखांकित किया था। उन्होंने कहा, “भारत में हर आठ में से एक व्यक्ति मोटापे से प्रभावित है। हाल के वर्षों में इसका प्रचलन दोगुना हो गया है और बचपन में मोटापा चार गुना बढ़ चुका है।”

मोटापा बन सकता है स्वास्थ्य समस्याओं का कारण

प्रधानमंत्री मोदी ने चेतावनी दी थी कि मोटापा हृदय रोग, मधुमेह और उच्च रक्तचाप जैसी गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि जीवनशैली में छोटे लेकिन प्रभावी बदलाव इन जोखिमों को कम करने में मदद कर सकते हैं। अपने संदेश को और फैलाने के लिए, पीएम मोदी ने मोटापे के बारे में जागरूकता बढ़ाने और स्वस्थ आहार को बढ़ावा देने के लिए एक राष्ट्रीय अभियान में भाग लेने के लिए दस प्रमुख हस्तियों को आमंत्रित किया।

इनमें जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला, उद्योगपति आनंद महिंद्रा, अभिनेता-राजनेता दिनेश लाल यादव उर्फ निरहुआ, ओलंपिक पदक विजेता मनु भाकर और मीराबाई चानू, अभिनेता मोहनलाल और आर. माधवन, गायिका श्रेया घोषाल, परोपकारी और राज्यसभा सांसद सुधा मूर्ति, और इंफोसिस के सह-संस्थापक नंदन नीलेकणी शामिल थे। प्रधानमंत्री ने इन सभी को प्रोत्साहित किया था कि वे इस अभियान को और प्रभावी बनाने के लिए दस और व्यक्तियों को नामित करें, ताकि इसका असर और अधिक लोगों तक पहुंचे।

यह भी पढ़ें : क्यों मनाया जाता है हर साल विश्व स्वास्थ्य दिवस, क्या है इसका इतिहास और इस बार की थीम, जानें

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