
हेमकुंड साहिब के लिए सिख श्रद्धालुओं का पहला जत्था ऋषिकेश से रवाना हुआ। राज्यपाल रिटायर्ड लेफ्टीनेंट जनरल गुरमीत सिंह और सीएम पुष्कर सिंह धामी ने श्रद्धालुओं के पहले जत्थे को रवाना किया। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने सभी श्रद्धालुओं को सुगम और सुरक्षित यात्रा के लिए शुभकामनाएं दीं।
सिखों के पवित्र तीर्थस्थल हेमकुंड साहिब के कपाट 20 मई को खुलने जा रहे हैं। कपाट खुलने से पहले सिख श्रद्धालुओं का पहला जत्था ऋषिकेश के लक्ष्मणझूला रोड स्थित गुरुद्वारे से रवाना हुआ। पहले जत्थे में लगभग 3 सौ श्रद्धालु रवाना हुए। राज्यपाल रिटायर्ड लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह और सीएम पुष्कर सिंह धामी ने श्रद्धालुओं के पहले जत्थे को रवाना किया। इससे पहले गुरुद्वारे में अरदास की गई। सीएम धामी ने सभी श्रद्धालुओं को सुगम, सुरक्षित यात्रा के लिए शुभकामनाएं दीं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में पहले ही चारधाम यात्रा शुरू हो चुकी है और देश- दुनिया से बड़ी संख्या में श्रद्धालु देवभूमि आ रहे हैं। सीएम ने कहा कि उत्तराखण्ड आने वाले किसी भी श्रद्धालु को अगर तकलीफ होती है तो उत्तराखण्ड के मुख्य सेवक होने के कारण वो तकलीफ उन्हें भी होती है। इसलिए यात्रा के लिए सरकार ने सभी जरूरी इंतजाम किए हैं, जिससे चारधाम यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं को कोई परेशानी नहीं हो।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हेमकुंड साहिब के लिए रोपवे परियोजना पर भी काम शुरू हो गया है। सीएम ने कहा कि परियोजना का काम पूरा होने पर हेमकुंड साहिब की कठिन यात्रा आसान हो जाएगी और इसके साथ ही शारीरिक रूप से कमजोर लोग भी हेमकुंड साहिब के दर्शन कर सकेंगे।
हेमकुंड साहिब के लिए श्रद्धालुओं को रवाना कर दिया गया है। लेकिन फिलहाल 60 साल से ज्यादा उम्र के, किसी बीमारी से ग्रस्त लोग अभी हेमकुंड यात्रा पर नहीं जा सकेंगे। चमोली जिला प्रशासन की अपील पर हेमकुंड ट्रस्ट की ओर से ऐसे यात्रियों को ऋषिकेश में ही रोका जाएगा। हेमकुंड मार्ग और हेमकुंड साहिब में अभी काफी बर्फ है। ऐसे में किसी को स्वास्थ्य संबंधी परेशानी नहीं हो इसके लिए प्रशासन ने यात्रियों की संख्या को सीमित किया गया है। हेमकुंड साहिब में बर्फ पिघलने के बाद ही ऐसे यात्रियों को यात्रा पर जाने की अनुमति दी जाएगी।
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