
CM Mann on Shaheed Anniversary : शहीदों की भूमि पंजाब से एक नई शुरुआत की ओर कदम बढ़ाते हुए, मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने शहीद भगत सिंह ढढोगल की पुण्यतिथि पर आयोजित समारोह में राज्य के लिए एक सशक्त और ईमानदार विकास मॉडल की रूपरेखा प्रस्तुत की. उन्होंने न सिर्फ शहीदों के बलिदानों को याद किया, बल्कि यह भी स्पष्ट किया कि अब पंजाब में नशा, भ्रष्टाचार और राजनीतिक शोषण के लिए कोई जगह नहीं रहेगी. राज्य सरकार, जनता की भलाई और शहीदों के सपनों को साकार करने के लिए ठोस कार्य कर रही है.
पंजाब की धरती पर नहीं उग सकता नफरत का बीज
मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान ने कहा कि पंजाब सरकार राज्य के महान शहीदों के सिद्धांतों पर चलते हुए हर वर्ग के कल्याण के लिए समर्पित है, खासकर आर्थिक रूप से कमजोर और दबे-कुचले वर्गों के लिए. उन्होंने शहीद भगत सिंह ढढोगल की पुण्यतिथि पर आयोजित सभा को संबोधित करते हुए कहा कि पंजाबियों में मेहनत, प्रेम और भाईचारे की गहरी जड़ें हैं. यहां की जमीन इतनी उपजाऊ है कि कुछ भी बोया जा सकता है, लेकिन नफरत का बीज कभी नहीं पनप सकता.

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह भूमि गुरुओं, संतों, पीरों और शहीदों की है, जिन्होंने प्रेम, सहिष्णुता और बलिदान की मिसालें पेश की हैं. राज्य सरकार शहीदों के सपनों को साकार करने के लिए लगातार प्रयासरत है ताकि आज़ादी का लाभ हर घर तक पहुंचे.
राजनीतिक साजिशों ने रोकी विकास की रफ्तार
मुख्यमंत्री ने अफसोस जताया कि आज़ादी के 75 साल बाद भी सत्ता में रहे कुछ नेताओं ने देश को लूटने, चिट्टा बेचने और भ्रष्टाचार फैलाने का ही काम किया. उन्होंने कहा कि ऐसे नेताओं ने देशभक्तों की कुर्बानियों के मकसद को दरकिनार कर दिया और सिर्फ अपनी तिजोरी भरने पर ध्यान केंद्रित किया है.
सीएम मान ने कहा कि युवाओं को निराश होकर विदेश जाना पड़ा, यहां तक कि उन्हें उन्हीं देशों में मजदूरी करनी पड़ी, जिनके शासकों को भगाने के लिए हमारे शहीदों ने जान दी थी. उन्होंने कहा कि अब पंजाब के लोग इन नेताओं को सत्ता से बाहर कर चुके हैं.
शहीद भगत सिंह ढढोगल का बलिदान प्रेरणास्रोत
भगवंत मान ने शहीद भगत सिंह ढढोगल को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि वे परजा मंडल लहर के संस्थापक थे और सेवा सिंह ठीकरीवाल के सहयोगी रहे. अकाली आंदोलन में भागीदारी के चलते उन्हें दस वर्ष की सजा हुई थी. रिहाई के बाद उन्होंने गुरुद्वारा सुधार आंदोलन और रियासती परजा मंडल में अहम भूमिका निभाई. उन्होंने अन्याय के विरुद्ध खड़े होकर अपने प्राणों की आहुति दी और देश के लिए अमिट इतिहास रच दिया.

गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी पर्व पर राज्यस्तरीय आयोजन
मुख्यमंत्री ने घोषणा की कि श्री गुरु तेग बहादुर साहिब जी के 350वें शहीदी पर्व को राज्य भर में ऐतिहासिक और भव्य स्तर पर मनाया जाएगा. उन्होंने कहा कि गुरु साहिब के चरण छोह वाले गांवों और नगरों का समग्र विकास सुनिश्चित किया जाएगा.
इसके लिए राज्य सरकार पहले ही विस्तृत कार्य योजना तैयार कर चुकी है, जो आने वाली पीढ़ियों को उनकी विरासत से जोड़ने का काम करेगी.
नशा कारोबारियों पर कसा शिकंजा
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार नशा तस्करों और उन्हें संरक्षण देने वाले “जरनैलों” के प्रति किसी भी प्रकार की नरमी नहीं बरतेगी. उन्होंने आरोप लगाया कि पहले इन नेताओं ने अपने पद और सरकारी गाड़ियों का इस्तेमाल तक नशा सप्लाई के लिए किया. भगवंत मान ने कहा कि यह पहली बार हुआ है कि इन रसूखदार नेताओं को गिरफ्तार किया गया है और उन्हें उनके पापों की सज़ा अवश्य मिलेगी.
कृषि क्षेत्र में ऐतिहासिक सुधार
सीएम ने कहा कि जब उन्होंने पदभार संभाला था तब केवल 21% कृषि भूमि को नहरी पानी मिल रहा था, लेकिन अब यह आंकड़ा बढ़कर 63% तक पहुंच गया है. इतिहास में पहली बार नहर और नदी का पानी राज्य के आखिरी गांव तक पहुंचा है.
उन्होंने घोषणा की कि 17.21 करोड़ रुपये की लागत से दो नई सड़कों का निर्माण शुरू किया गया है, एक सड़क धूरी-अमरगढ़ रोड को धूरी-छींटा वाला लिंक रोड से जोड़ेगी, जबकि दूसरी अमरगढ़ को धूरी-बागड़ियां रोड से जोड़ेगी. दोनों सड़कें 18 फीट चौड़ी होंगी और ठेकेदारों को पांच साल तक रखरखाव की जिम्मेदारी निभानी होगी.

मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान का संबोधन केवल एक श्रद्धांजलि नहीं, बल्कि शहीदों के सपनों को साकार करने की दिशा में एक मजबूत संदेश था. उन्होंने साफ किया कि उनकी सरकार सिर्फ घोषणाओं की नहीं, जमीनी बदलाव की राजनीति कर रही है — जहाँ नफरत नहीं, बल्कि विकास, न्याय और विरासत की रक्षा को प्राथमिकता है.
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