मेरे जीवन की सबसे खास पारी है, जिसे मैं कभी नहीं भूलूंगा- ग्लेन मैक्सवेल

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कोई लक्ष्य मनुष्य के साहस से बड़ा नहीं, हारा वही जो लड़ा नहीं। ग्लेन मैक्सवेल ने कहा, मैं किसी भी हालत में हार नहीं मानता। मेरे लिए टीम की जीत से ज्यादा दुनिया में कोई भी चीज जरूरी नहीं है। मैं जीत के लिए जान लड़ा सकता हूं।

गर्मी मुझ पर बुरी तरह हावी हो गई -ग्लेन मैक्सवेल

अफगानिस्तान के खिलाफ रचने के बाद ग्लेन मैक्सवेल ने कहा गर्मी मुझ पर बुरी तरह हावी हो गई थी। हाल-फिलहाल मैंने गर्मी में ज्यादा एक्सरसाइज नहीं की है। इस वजह से मेरे लिए हालात बद से बदतर होते जा रहे थे। फिर भी मुझे खड़ा रहना था। जब 292 चेज करते हुए हमने 92 पर 7 विकेट खो दिए, तब मैं सिर्फ पॉजिटिव रहना चाहता था।

डर कर रुकना नहीं चाहता – ग्लेन मैक्सवेल

मैं डर कर रुकना नहीं चाहता था, बल्कि अपने शॉट खेलना चाहता था। मुझे अपनी बल्लेबाजी पर भरोसा था। LBW वाले डिसीजन में जब मैंने बड़ी स्क्रीन पर गेंद को स्टंप्स के ऊपर से जाते हुए देखा, तब मेरा खुद पर भरोसा और पुख्ता हो गया। उस पल मुझे एहसास हुआ कि यह टारगेट मैं और सिर्फ मैं ही चेज कर सकता हूं।

मेरे इरादे और मजबूत – ग्लेन मैक्सवेल

अंडर लाइट्स गेंद स्विंग हो रही थी और अफगानिस्तानी गेंदबाज इसका भरपूर फायदा उठा रहे थे। हां, मैं मानता हूं कि मेरा कैच छूटा। अच्छा होता कि यह पारी बगैर चांस के आती। पर चांस के बाद मेरे इरादे और मजबूत हुए। पहले 2 मैच हारने के बाद कई लोगों ने हमें टूर्नामेंट से बाहर कर दिया था। लगातार 6 मैच जीतकर हम सेमीफाइनल में हैं।

मेरे दोनों पैर में क्रैम्प – ग्लेन मैक्सवेल

यह मेरे जीवन की सबसे खास पारी है, जिसे मैं कभी नहीं भूलूंगा। ग्लेन मैक्सवेल ने कहा, मेरे दोनों पैर में क्रैम्प हो गया था। मैं ठीक से खड़ा नहीं हो पा रहा था। इस बीच जब आराम पाने के लिए जमीन पर लेट गया, तब मेरी पीठ अकड़ गई। मेरी टीम के फिजियो ने मुझसे कहा कि वापस चले जाओ। इस हाल में नहीं खेल पाओगे। पर मुझे ऑस्ट्रेलिया के लिए मैच फिनिश करना था। इसके बगैर मैं वापस नहीं जाने वाला था।