
Amritsar News : पंजाब में भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रही मुहिम के बीच अब ऐसे खुलासे सामने आ रहे हैं, जिन्होंने सरकारी सिस्टम की जड़ों पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं। विजिलेंस ब्यूरो अमृतसर के एसएसपी लखबीर सिंह को जहां गंभीर विभागीय अनियमितताओं के चलते निलंबित किया गया है, वहीं करोड़ों रुपये के टेंडर घोटाले में 7 अधिकारियों के सस्पेंड से प्रशासन में हड़कंप मच गया है।
सूत्रों के अनुसार, इस पूरे घोटाले के केंद्र में राजीव शर्मा, शर्मा कंस्ट्रक्शन कंपनी का मालिक, बताया जा रहा है, जिसे एक कथित समाजसेवक मन्ना का संरक्षण प्राप्त था। आरोप है कि मन्ना और राजीव शर्मा की जोड़ी ने अफसरों को ब्लैकमेल कर न केवल दबाव बनाया, बल्कि मनचाहे टेंडर भी हासिल किए।
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि राजीव शर्मा लगातार टेंडर महज़ आधा प्रतिशत कम दरों पर जीतता रहा, जबकि उससे कम रेट भरने वाली अन्य कंपनियों को जानबूझकर तकनीकी खामियों के नाम पर बाहर कर दिया गया। सूत्रों का दावा है कि टेंडर प्रक्रिया को इस तरह डिजाइन किया गया था कि फायदा सिर्फ एक ही कंपनी को मिले।
बताया जा रहा है कि यह खेल अचानक नहीं, बल्कि लंबे समय से सुनियोजित तरीके से चल रहा था। टेंडर की शर्तें, तकनीकी मूल्यांकन और फाइलों की मूवमेंट तक पर एक खास गिरोह का नियंत्रण होने के आरोप सामने आए हैं, जिससे सरकारी खजाने को करोड़ों रुपये का नुकसान पहुंचा।
विजिलेंस अधिकारियों का कहना है कि चीफ सेकेट्री पंजाब के निर्देशों और प्रारंभिक जांच रिपोर्ट के आधार पर मामले की परत-दर-परत जांच की जा रही है। एफआईआर दर्ज होने के बाद अब संबंधित टेंडरों, फाइलों, कॉल डिटेल्स और अफसरों की भूमिका की गहन पड़ताल की जा रही है।
पंजाब सरकार ने दो टूक कहा है कि अगर आरोप सही पाए गए तो सिर्फ अधिकारी ही नहीं, बल्कि ठेकेदारों और पर्दे के पीछे बैठे प्रभावशाली लोगों पर भी कड़ी कानूनी कार्रवाई होगी। आने वाले दिनों में इस घोटाले में और बड़े नाम सामने आने की संभावना से इनकार नहीं किया जा रहा।
एम.सी. बटाला में टेंडर घोटाले का खुलासा, राजनीतिक संरक्षण में फिक्सिंग के गंभीर आरोप
बटाला: नगर परिषद बटाला में सड़कों के निर्माण से जुड़े एक बड़े टेंडर में भारी अनियमितताओं के आरोप सामने आए हैं।
“एम.सी. बटाला के विभिन्न वार्डों की गलियों का निर्माण” (टेंडर आईडी: 2025 DLG 154511_1) नामक इस टेंडर को कथित तौर पर शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स प्राइवेट लिमिटेड के पक्ष में सुनियोजित तरीके से फिक्स किया गया।
सूत्रों और ठेकेदारों के आरोपों के मुताबिक, स्थानीय स्तर पर सक्रिय कथित ब्लैकमेलर मनदीप सिंह मन्ना ने खुले तौर पर ठेकेदारों को धमकाया कि उसकी अनुमति के बिना कोई भी इस टेंडर में हिस्सा न ले, अन्यथा उनकी साख खराब कर दी जाएगी और भविष्य का काम बंद करा दिया जाएगा। इन्हीं धमकियों के चलते टेंडर प्रक्रिया में जानबूझकर प्रतिस्पर्धा खत्म कर दी गई।
बताया जा रहा है कि टेंडर में केवल जैक्सन कॉन्ट्रैक्टर्स और शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स को ही बोली लगाने दी गई। सूत्रों का दावा है कि जैक्सन कॉन्ट्रैक्टर्स ने आपसी सांठगांठ के तहत एक डमी बोली डाली, ताकि न्यूनतम अंतर पर टेंडर शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स को मिल सके।
आरोप यह भी है कि स्थानीय नगर परिषद अधिकारियों पर दबाव बनाया गया और उन्हें डराया-धमकाया गया, जिससे फाइलें तेजी से क्लियर हों और टेंडर अवॉर्ड तय कंपनी के पक्ष में हो जाए।
स्थानीय हलकों में इसे एक पुराना गठजोड़ बताया जा रहा है, जिसमें शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स और मनदीप सिंह मन्ना मिलकर बटाला, अमृतसर और आसपास के इलाकों में नगर निकायों के टेंडरों पर कब्जा करते रहे हैं।
पूरा मामला राजनीतिक संरक्षण, टेंडर रिगिंग और खुलेआम भ्रष्टाचार की ओर इशारा करता है। ठेकेदार संगठनों और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने इस टेंडर को तत्काल रद्द करने और पूरे प्रकरण की विजिलेंस जांच की मांग की है।
बटाला: ₹23.91 करोड़ की सड़क निर्माण परियोजना के लिए शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स बने सबसे कम बोलीदाता
बटाला, 27 दिसंबर — पंजाब सरकार की ई-प्रोक्योरमेंट प्रणाली के माध्यम से नगर निगम बटाला द्वारा आमंत्रित एक बड़ी सड़क निर्माण परियोजना में शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स प्राइवेट लिमिटेड ने सबसे कम बोली (L1) लगाकर सफलता हासिल की है।
यह टेंडर बटाला शहर के विभिन्न वार्डों में सड़कों के निर्माण से संबंधित है, जिसमें वार्ड नंबर 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 10, 11, 12, 13, 16, 19, 22, 23, 24, 25, 34, 43, 44 तथा मान फार्म रोड शामिल हैं।
परियोजना की अनुमानित लागत ₹24.22 करोड़ रखी गई थी, जिसके मुकाबले शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स प्रा. लि. ने 1.26 प्रतिशत कम दर पर ₹23,91,68,676.72 (तेईस करोड़ इक्यानवे लाख अड़सठ हजार छह सौ छिहत्तर रुपये और बहत्तर पैसे) की बोली लगाई।
यह टेंडर नगर निगम बटाला के आयुक्त द्वारा आमंत्रित किया गया था। तुलनात्मक विवरण के अनुसार शर्मा कॉन्ट्रैक्टर्स प्राइवेट लिमिटेड द्वारा दी गई बोली को सबसे कम राशि वाली बोली घोषित किया गया है। सभी औपचारिक प्रक्रियाओं और स्वीकृतियों के बाद कार्यादेश जारी किया जाएगा।
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