बड़ी ख़बर

101 साल की उम्र में राम मंदिर के ‘जनक’ बीबी लाल का हुआ निधन

राम मंदिर हमारे देश के लिए काफी महत्व रखता है। मंदिर के सफल निर्माण के पीछे हजारों लोगों का येगदान था, लेकिन उसी के साथ कुछ लोगों  का बड़ा ही खास महत्व है। उन्हीं में से एक हैं पद्मश्री विभूषण प्रो. बीबी लाल।  मिली जानकारी के हिसाब से भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के पूर्व महानिदेशक पद्मश्री विभूषण प्रो. बीबी लाल का शनिवार को निधन हो गया।

अगर उनकी  उम्र की बात करें तो उनकी उम्र 101 साल की थी। बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उनके निधन पर दुख जताते हुए श्रद्धांजलि दी है। बीबी लाल को भारत का सबसे वरिष्ठ आर्कियोलॉजिस्ट माना जाता था।खास बात तो ये भी थी, कि वह 100 साल की उम्र में भी आर्कियोलॉजी से जुडे़ शोधों में और इसके लेखन में सक्रिय थे।

कहां के रहने वाले थे बीबी लाल

आपको बता दें कि बीबी लाल का जन्म झांसी जिला के बैडोरा गांव में 02 मई 1921 को हुआ था। उन्होंने भारतीय उन्नत अध्ययन संस्थान, शिमला के निदेशक के रूप में सेवा शुरू की। बीबी लाल को साल 2000 में पद्मभूषण के सम्मान से नवाजा गया था। इसके बाद 2021 में पद्मविभूषण का भी सम्मान दिया गया था।

उन्होंने महाभारत और रामायण से जुड़ी साइट्स के साथ-साथ सिंधु घाटी और कालीबंगन पर भी खूब काम किया था। उनके काम से जुड़ी तमाम किताबें और सैकड़ों रिसर्च पेपर प्रकाशित हो चुके हैं।

बीबी लाल 1968 से 1972 तक भारतीय पुरात्तव सर्वेक्षण विभाग के डायरेक्टर रहे। इसके अलावा वह यूनेस्को की विभिन्न समितियों में भी शामिल रहे थे। साल 1944 में सर मोर्टिमर व्हीलर ने उन्हें तक्षशिला में ट्रेनिंग दी थी।

बीबी लाल के निधन पर दुख जताते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट किया। इसमें उन्होंने लिखा कि श्री बीबी लाल एक बेहतरीन शख्सियत थे। कल्चर और आर्कियोलॉजी के क्षेत्र में उनका योगदान अतुलनीय है। उन्हें एक ऐसे बौद्धिक व्यक्तित्व के रूप में याद किया जाएगा जिनका हमारे समृद्ध अतीत से गहरा नाता था। पीएम ने लिखा कि उनके निधन से गहरे सदमे में हूं। इसके बाद उन्होंने परिवार के साथ अपनी सांत्वना व्यक्त की।

Related Articles

Back to top button