
Uttar Pradesh: हापुड़ में अधिवक्ताओं पर हुए लाठीचार्ज मामले को लेकर चल रहा वकीलों का हड़ताल 15 दिन के बाद समाप्त हो गया है। बता दें कि वकीलों का यह हड़ताल 30 अगस्त से जारी था। इसके बाद से लगातार मामला बढ़ रहा था। प्रदेश भर में वकीलों का आक्रोश भड़का हुआ था। लगातार प्रदर्शन हो रे थे। हालांकि, सरकार से बातचीत के बाद वकीलों की हड़ताल खत्म कर दी गई। बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश ने इसकी घोषणा कर दी है। बार काउंसिल की ओर से कहा गया कि राज्य के मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा के साथ सफल वार्ता के बाद वकीलों की राज्यव्यापी हड़ताल खत्म की जा रही है। बार काउंसिल की ओर से हड़ताल वापस लिए जाने के बाद शुक्रवार से कचहरी में कामकाज एक बार फिर शुरू होने की उम्मीद है। पिछले 15 दिनों से वकीलों की हड़ताल के कारण अदालती कामकाज प्रभावित हो गया था।
पुलिस अधिकारियों के निलंबन और स्थानांतरण को सरकार ने दी स्वीकृति
मुख्य सचिव ने आश्वासन दिया है कि विरोध प्रदर्शन के दौरान अधिवक्ताओं पर दर्ज सभी मामले हटा लिए जायेंगे। उत्तर प्रदेश बार काउंसिल के अध्यक्ष शिव किशोर गौड़ ने कहा कि मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्रा के साथ बातचीत बहुत सकारात्मक रही। शिव किशोर गौड़ ने यह भी घोषणा की कि अधिवक्ता संरक्षण कानूनों से संबंधित मामलों को देखने के लिए एक समिति का गठन किया गया है। उन्होंने कहा कि इस समिति में सरकार और बार काउंसिल दोनों का प्रतिनिधि शामिल होगा और एक समय सीमा के भीतर ऐसे कानून के प्रस्ताव को पारित करने की दिशा में काम किया जाएगा। गौड़ ने कहा कि हापुड़ में दोषी पुलिस अधिकारियों के निलंबन और स्थानांतरण की उनकी मांग को सरकार ने स्वीकार कर लिया है।
हड़ताल खत्म होने की नहीं थी जानकारी
बार काउंसिल के अध्यक्ष ने हड़ताल वापस लेने के फैसले की घोषणा करते हुए कहा कि सरकार ने दोषी पुलिस अधिकारियों को निलंबित करने और हापुड़ में शीर्ष पुलिस अधिकारियों के स्थानांतरण की हमारी मांग स्वीकार कर ली है। हालांकि, इलाहाबाद हाई कोर्ट बार एसोसिएशन के प्रेसिडेंट अशोक कुमार सिंह को हड़ताल खत्म होने की जानकारी नहीं थी। उन्होंने कहा कि वे शुक्रवार सुबह होने वाली बैठक में बार काउंसिल के इस अपडेट पर चर्चा करेंगे और फिर भविष्य की कार्रवाई तय करेंगे।
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