Electoral Bonds: सुप्रीम कोर्ट की SBI को फटकार, चुनावी बॉन्ड की संख्या का खुलासा न करने का पूछा कारण

Electoral Bonds: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार (15 मार्च) को भारतीय स्टेट बैंक (SBI) को नोटिस जारी किया है। ये नोटिस राजनीतिक दलों द्वारा प्राप्त चुनावी बॉन्ड के मामले में है। सुप्रीम कोर्ट ने SBI को फटकार लगाते हुए कहा कि उसे चुनावी बॉन्ड की संख्या (अल्फा-न्यूमेरिक नंबरों) का खुलासा भी करने को कहा गया था, जो उसने नहीं किया है।
Electoral Bonds: मूल दस्तावेज वापस करने का निर्देश
चीफ जस्टिस DY चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पांच-न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने SBI को निर्देश दिया है कि वे अपने रजिस्ट्रार (न्यायिक) को मतदान पैनल द्वारा सीलबंद लिफाफे में दाखिल किए गए डेटा को स्कैन और डिजिटाइज किए जाने के बाद मूल दस्तावेज चुनाव आयोग को वापस करें। कोर्ट ने इसके लिए SBI को शनिवार (16 मार्च) शाम 5 बजे तक का समय दिया है।
अल्फा-न्यूमेरिक नंबरों का खुलासा नहीं
बता दें कि सुनवाई के दौरान, पांच-न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने याचिकाकर्ता की ओर से मामले में पेश हुए वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल और वकील प्रशांत भूषण की दलीलों सुनीं। पीठ ने ध्यान दिया कि एसबीआई द्वारा चुनावी बॉन्ड के अल्फा-न्यूमेरिक नंबरों का खुलासा नहीं किया गया है। बता दें कि पीठ में न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, न्यायमूर्ति बी आर गवई, न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा भी शामिल थे।
सोमवार को होगी अगली सुनवाई
चुनावी बॉन्ड मामले में अगली सुनवाई अब सोमवार (18 मार्च) को होनी है। दरअसल सुप्रीम कोर्ट ने स्टेट बैंक ऑफ इंडिया को चुनाव आयोग को इलेक्टोरल बॉन्ड खरीदने वाले सभी लोगों की जानकारी उपलब्ध कराने का आदेश दिया था। साथ ही चुनाव आयोग को ये सभी जानकारी अपनी वेबसाइट पर अपलोड करने का आदेश दिया था। चुनाव आयोग ने इसके अमल पर आदेश में संशोधन को लेकर एक अर्जी दाखिल की है, उसी पर आज सुनवाई हुई।
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