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बीजेपी और टीडीपी आए आमने-सामने, चंद्रबाबू नायडू की पार्टी ने संसद में इस मुद्दे पर उठाया सवाल

BJP TDP in Parliament: चंद्रबाबू नायडू की पार्टी टीडीपी ने बीते दिन संविधान पर चर्चा के दौरान केंद्र सरकार के एक कदम पर सवाल उठाए। टीडीपी सांसद लवू श्रीकृष्ण देवरायलु ने जनसंख्या के आधार पर किए जा रहे परिसीमन पर चिंता जताई। सांसद ने कहा कि इस फैसले से उत्तर भारत के राज्यों को फायदा हो रहा है वही दक्षिण को नुकसान होगा।

संसद में संविधान पर चर्चा के दौरान चंद्रबाबू नायडू की पार्टी ने केंद्र के एक कदम पर सवाल उठाए। टीडीपी सांसद लवू श्रीकृष्ण देवरायलु ने लोकसभा में संविधान पर बहस के दौरान जनसंख्या के आधार पर किए जा रहे अगले परिसीमन पर चिंता व्यक्त की।

दक्षिणी राज्यों को नुकसान होगा

सांसद लवू श्रीकृष्ण देवरायलु ने कहा कि अगले परिसीमन के तहत दक्षिणी राज्यों को नुकसान होगा, जबकि उत्तरी राज्यों को राजनीतिक रूप से लाभ होगा। सांसद ने कहा कि यदि जनसंख्या के आधार पर परिसीमन किया जाता है, तो गणना यह है कि चार राज्यों- यूपी, बिहार, एमपी और राजस्थान की सीटें वर्तमान की 169 से बढ़कर 324 हो जाएंगी, वही आंध्र, तेलंगाना, तमिलनाडु, केरल और कर्नाटक की सीटें वर्तमान 129 से बढ़कर 164 हो जाएंगी।

समय सीमा तय की जानी चाहिए

टीडीपी सांसद ने कहा कि यह संघवाद के हित में नहीं साबित होगा। लवू श्रीकृष्ण देवरायलु ने आग्रह किया कि उन राज्यों को भी परिसीमन का लाभ दिया जाना चाहिए जिनकी जनसंख्या में कमी आई है। देवरायलु ने मांग की कि राज्य विधानसभाओं द्वारा पारित विधेयकों को मंजूरी देने के लिए राज्यपालों के लिए समय सीमा तय की जानी चाहिए।

आंध्र का विभाजन हुआ

सांसद ने सरकारों को गिराने के लिए कांग्रेस की आलोचना की और कहा कि राज्य विधानसभा द्वारा केंद्र द्वारा भेजे गए प्रस्ताव को खारिज करने के बावजूद आंध्र का विभाजन हुआ।
बता दें कि 2029 में होने वाले अगले लोकसभा चुनाव को बढ़ी हुई सीटों के साथ कराने का प्लान है। परिसीमन कानून के तहत 2026 तक लोकसभा की सीटें नहीं बढ़ाई जा सकती हैं। इसके बाद जनगणना के आधार पर परिसीमन कराया जा सकता है। अनुमान के मुताबिक, 2027 की जनगणना के बाद परिसीमन पूरा होगा।

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