महुआ मोइत्रा को लोकसभा से करें निष्कासित : एथिक्स कमेटी
New Delhi: लोकसभा में प्रश्न पूछने के बदले रिश्वत लेने के मामले में एथिक्स कमेटी की आज एक अहम बैठक होने वाली है। इस बैठक में एथिक्स कमेटी महुआ के विरुद्ध लगे आरोपों पर तैयार मसौदा रिपोर्ट स्वीकार कर सकती है। यह बैठक आज शाम चार बजे होने वाली है। सूत्रों के मुताबिक, आचार समिति की रिपोर्ट में सिफारिश की गई है कि महुआ मोइत्रा को सांसद बने रहने की इजाजत नहीं दी जानी चाहिए।
निशिकांत दुबे ने लगाया था आरोप
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने महुआ पर रिश्वत के बदले कारोबारी दर्शन हीरानंदानी के इशारे पर अडाणी समूह को निशाना बनाने के लिए लोकसभा में प्रश्न पूछने का आरोप लगाया था। जिसकी लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से शिकायत की थी। इसके बाद एक कमेटी गठित की गई थी। इस पन्द्रह सदस्यीय कमेटी में भाजपा के 7, कांग्रेस के 3 और बीएसपी, शिवसेना, वाईएसआर कांग्रेस पार्टी, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी और जनता दल (यूनाइटेड) के एक-एक मेम्बर हैं।
आचार समिति की रिपोर्ट में क्या मांग की गई है?
सूत्रों के मुताबिक 500 पेजों की संसदीय एथिक्स कमेटी की रिपोर्ट में सिफारिश की गई है कि महुआ को सांसद बने रहने की इजाजत नहीं दी जानी चाहिए। और उनकी सदस्यता को समाप्त कर देना चाहिए। आचार समिति ने महुआ के एक्शन को अत्यधिक आपत्तिजनक, अनैतिक, जघन्य और आपराधिक बताते हुए कहा कि वह कड़ी सजा की मांग करती है। आचार समिति ने यह भी सिफारिश की है कि पूरे मामले की कानूनी, गहन, संस्थागत और समयबद्ध जांच की जाए।
महुआ ने किया है गंभीर अपराध
आचार समिति ने निष्कर्ष निकाला है कि महुआ ने अनधिकृत लोगों के साथ यूजर आईडी साझा की। कारोबारी हीरानंदानी से नकदी और अन्य सुविधाएं ली। जो कि एक गंभीर अपराध है। आचार समिति की ओर से गंभीर सज़ा की मांग की गई है।
यह भी पढ़ें – Stubble Burning: पंजाब के किसानों से शीर्ष अदालत की अपील, धान की खेती की जगह ढूंढे अन्य विकल्प
.