TSR के जीरो टॉलरेंस राज में उनके पूर्व औद्योगिक सलाहकार रहे केएस पंवार के ऊपर लटकी तलवार, मनी लांड्रिंग केस में होगी पत्नी की कंपनी की जांच

उत्तराखंड: आपको याद है उत्तराखंड के पूर्व सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत का जीरो टॉलरेंस राज जिसकी दुहाई अक्सर पूर्व सीएम TSR देते फिरते हैं। लेकिन उसी जीरो टॉलरेंस राज में उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की स्नातक स्तरीय भर्ती परीक्षा के पेपर कांड का अहम आरोपी हाकम सिंह रावत अपने घर की छत पर सरकारी हेलीकॉप्टर उतार कर दिखा देता है। अब उसी जीरो टॉलरेंस राज में जिनकी तूती बोलती थी और जो न केवल पूर्व सीएम त्रिवेंद्र के ओद्योगिक सलाहकार थे बल्कि TSR की किचन कैबिनेट के वो किरदार थे जिनके इशारे पर फाइलें पंख लगाकर दौडने लगती थी और अगर उनकी नजरें टेढ़ी हो जाती थी तो तत्कालीन कद्दावर मंत्रियों के काम भी लटक जाया करते थे।
TSR के जीरो टॉलरेंस राज में उनके पूर्व औद्योगिक सलाहकार रहे केएस पंवार संकट में
साथ ही CM रहते हुए TSR के ओद्योगिक सलाहकार रहे उन्हीं केएस पंवार की पत्नी जिस कंपनी की 2017 से 2020 तक जिस कंपनी की डायरेक्टर रही और वर्तमान में भी उनके रिश्तेदार ही इसमें डायरेक्टर बताए जा रहे हैं, उसके खिलाफ 200 करोड़ रुपए की मनी लांड्रिंग के आऱोप की जांच के आदेश हो गए हैं। TSR के पूर्व सलाहकार पंवार से जुड़ी सोशल म्यूचुअल बेनिफिट निधि लिमिटेड नामक कंपनी पर आरोप है कि इसने फर्जी तरीके से हजारों लोगों के नाम से RD FD में रुपया जमा कर काले धन को वैध करा दिया। अब धामी सरकार में इस पर हंटर चलता दिख रहा है।
200 करोड़ के मनी लांड्रिंग केस में पत्नी की कंपनी की जांच के आदेश
अब शासन ने पंवार की कंपनी की गतिविधियों की जांच आर्थिक अपराध शाखा यानी EOW को सौंप दी है। बताते चलें कि इस मामले में खानपुर विधायक उमेश कुमार ने शासन में शिकायत की थी। इस कंपनी का हेड क्वार्टर देहरादून हरिद्वार बाईपास के ब्राह्मणवाला में हैं।
खानपुर विधायक उमेश कुमार की शिकायत पर एक्शन
विधायक उमेश कुमार का आरोप है कि उन्होनें जब इस फर्जीवाड़े का भंडाफोड़ किया था तब पूर्व सीएम त्रिवेंद्र के ओद्यौगिक सलाहकार रहे केएस पंवार ने अपनी पत्नी का इस्तीफा दिला दिया था। थोड़ी देर पहले उमेश कुमार ने ट्वीट कर कहा 3 साल पहले मैंने खुलासा कर दिया था कि तत्कालीन मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र के सलाहकार ने की है 200 करोड़ की मनी लाउंड्रिंग। इन्हें लगता था राज़्य के लोगो का 200 करोड़ खाकर डकार जाएँगे।
कंपनी की गतिविधियों की जांच आर्थिक अपराध शाखा यानी EOW को सौंपी गई
साथ ही बताया जा रहा है कि TSR के नवरत्नों में सबसे आगे रहे पंवार की इस कंपनी ने 4050 लोगों के नाम पर आरडी एफडी के खाते खोले औऱ इन खातों में निवेश दिखाकर बहुत से लोगों के काले धन को व्हाइट करने का कारनामा किया। अब इस मामले में EOW के जांच के आदेश हो गए हैं। और अब जल्द ही सब साफ हो जाएगा। हालांकि केएस पंवार ने कहा है कि इस कंपनी में उनकी कोई भागीदारी नहीं है। यह परिवार जनों से संबंधित कंपनी है। पंवार का आरोप है कि जांच पहले भी हो चुकी लेकिन अब कोई जबरन इस प्रकरण को उठाकर उनको घेरे में ले रहा है।