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संसद सत्र से पहले AAP MP का स्पीकर को नोटिस, अध्यादेश का जताया विरोध

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संसद सत्र 20 जुलाई से शुरू होने जा रहा है। सत्र शुरू होने से पहले ही राजधानी दिल्ली के अध्यादेश का मुद्दा गरमा गया है। वो इसलिए क्योंकि पंजाब के जालंधर से लोकसभा सांसद सुशील कुमार रिंकू ने केंद्र के अध्यादेश को लेकर स्पीकर को नोटिस दिया है।

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बता दें, संसद सत्र के दौरान केंद्र द्वारा सदन पटल पर 31 बिलों को रखा जाएगा। जिसमें यह अध्यादेश भी शामिल हैं। यही वजह है कि आप सांसद ने स्पीकर को नोटिस देकर इसका विरोध जताया है।

AAP ने किया ट्वीट

उनके नोटिस को आम आदमी पार्टी के ट्विटर हैंडल से भी शेयर किया गया है। आप ने ट्वीट कर लिखा है मोदी सरकार द्वारा लोकसभा में दिल्ली का ‘काला अध्यादेश’ प्रस्तुत करने के विरोध में नोटिस। संविधान के विरुद्ध कोई भी बिल सदन में नही लाया जा सकता है। आप सांसद सुशील रिंकू ने ‘काले अध्यादेश’ को लोकसभा में पेश करने के विरोध में नोटिस दिया।

क्या है पूरा मामला

सर्वोच्च न्यायालय ने 11 मई को ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए अधिकारियों की पोस्टिंग और ट्रांसफर का अधिकार आम आदमी पार्टी के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार को दे दिया, जिसके बाद राजधानी में कार्यरत प्रशासनिक अधिकारियों की नियुक्ति और तबादले का अधिकार दिल्ली सरकार को मिल गया। इसके कुछ दिन बाद ही केंद्र सरकार द्वारा ऑर्डिनेंस लाया गया।

AAP ने खोला अध्यादेश के खिलाफ मोर्चा

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अन्य विपक्षी दलों से अध्यादेश का विरोध करने के लिए समर्थन की मांगा। कांग्रेस, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, पश्चिम बंगाल की मुख्य्मंत्री ममता बनर्जी, महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, सीताराम येचुरी, तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन, झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन समेत विपक्ष के कई दलों ने दिल्ली सरकार का समर्थन कर केंद्र के अध्यादेश का विरोध करने की बात कही है।

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