जल्द दिखने वाला है इंजीनियरिंग का ‘चमत्कार’, रिटायर होने जा रहा Pamban Bridge
देश का ऐतिहासिक Pamban Bridge जल्द ही रिटायर होने वाला है। बता दें बंगाल की खाड़ी और हिंद महासागर के बीच 100 वर्षों से अधिक सालों तक भरोसे पर ये पुल खड़ा रहा है। लेकिन अब इस ब्रिज के रिटायर होने का समय आ गया है। बता दें तमिलनाडु के रामेश्वरम में मौजूद ये ऐतिहासिक पांबन ब्रिज ने बहुत समय तक साथ दिया है। हालांकि इस ब्रिज की जगह अब नई तकनीक से एक नए बनाए पांबन ब्रिज को बनाया जा रहा है। पांबन में देश का एकमात्र वर्टिकल लिफ्ट पुल बनाया जा रहा है। रामेश्वरम के साथ धनुषकोठी की यात्रा करने वाले यात्री भी इस ब्रिज का इस्तेमाल कर सकेंगे। तो आइए जानते है क्यों पड़ा इस पुल का नाम पांबन और इससे जुड़ी दिलचस्प बातें।
India’s first sea bridge and more than a century old, #PambanBridge is a two km long bridge that connects Indian mainland to #Rameswaram on Pamban Island. It is the second largest bridge in India and one of the most incredible railway routes in the world.
— SAIL (@SAILsteel) May 25, 2022
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कैसा होगा नया पांबन ब्रिज?
तमिलनाडु के रामेश्वरम में मौजूद Pamban Bridge मंडपम शहर को पांबन द्वीप और रामेश्वरम द्वीप से जोड़ने में मदद करता है। बता दें इस पुल का निर्माण 24 फरवरी, 1914 को बनाया गया था। पांबन ब्रिज देश का पहला सी-ब्रिज भी है। हालांकि इस पुल का निर्माण अंग्रेजों द्वारा अपने व्यापार मार्ग को आसान बनाने के लिए उन्होंने बनवाया था। अब इस नए पांबन ब्रिज को 500 करोड़ की लागत से बनवाया गया है। रिपोर्ट की माने तो इस पुल को दिसंबर के अंत तक बना लिया जाएगा। जानकारी के मुताबिक पंबन में बन रहा ये नया पुल करीब 2.1 किमी लंबा है।
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100 किमी तक तेज हवाओं को झेलने में सामर्थ्य
बता दें ये नया पुल बनाने के लिए इंजीनियर्स को काफी चुनौती का सामना करना पड़ रहा है। ये ब्रिज वर्टिकल लिफ्ट तकनीक पर बनाया जा रहा है। वर्टिकल लिफ्ट ब्रिज मतलब ऐसा पुल जो ऊपर की ओर उठ सकता है। पांबन में बन रहा ये वर्टिकल लिफ्ट ब्रिज देश का पहला ऐसा पुल होगा। Pamban Bridge को बेहद ही नई तकनीक से बनाया जा रहा है। 100 किमी तक तेज हवाओं की मार झेलना हो, या फिर समंदर की शक्तिशाली लहरों का मुकाबला। एक सदी से पंबन का ये पुल समंदर में सीना ताने खड़ा है। जाहिर है नया पुल इससे भी मजबूत बनेगा।