पंजाब पुलिस की बड़ी सफलता, अंतरराष्ट्रीय ड्रग्स तस्कर को किया गिरफ्तार
International Drug Smuggler arrested : मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के दिशा-निर्देशों के अनुसार पंजाब पुलिस ने नशे के विरुद्ध शुरु की गई मुहिम के दौरान एक बड़ी सफलता हासिल की है. पंजाब पुलिस ने केंद्रीय एजेंसियों के साथ साझा आपरेशन में अंतर्राष्ट्रीय नशा तस्कर सिमरनजोत सिंह संधू, जो जर्मनी में 487 किलो कोकीन तस्करी मामले का मुख्य आरोपी है, उसको गिरफ़्तार किया है।
डीजीपी ने दी जानकारी
यह जानकारी देते हुए पंजाब के डायरेक्टर जनरल ऑफ पुलिस ( डीजीपी) गौरव यादव ने शनिवार को बताया कि यह सफलता मोगा पुलिस की तरफ से 16 जून, 2024 को 1 किलो हेरोइन समेत गिरफ्तार किए गए स्थानीय नशा तस्कर बेअंत सिंह और सुखदीप सिंह की गिरफ़्तारी के उपरांत बारीकी के साथ की गई जांच के बाद सामने आई है।
जर्मनी में नशे के मामलों में वांछित
उन्होंने बताया कि इन आरोपियों के बयानों के आधार पर पुलिस ने मनदीप सिंह जो कि मौजूदा समय अमरीका में रहता है और सिमरनजोत सिंह, जो मनदीप सिंह के निर्देशों पर पंजाब में हेरोइन के खरीददारों की खोज कर रहा था, को नामज़द किया था। डीजीपी गौरव यादव ने बताया कि आरोपी सिमरनजोत संधू अंतरराष्ट्रीय ड्रग तस्करी का मुख्य सरगना है और जर्मनी में नशे के मामलों में वांछित है। उन्होंने कहा कि प्राथमिक जांच से पता लगा है कि गिरफ्तार किए गए आरोपियों ने अपने अंतरराष्ट्रीय संबंधों के जरिए भारत और अन्य यूरोपीय देशों में नशे की तस्करी में बड़ी भूमिका निभाई है।
मोगा के गांव भलूर से गिरफ्तार किया
इंस्पेक्टर जनरल आफ पुलिस ( आईजीपी) हेडक्वॉटर डा. सुखचैन सिंह गिल, जिन के साथ डीआईजी फरीदकोट रेंज अश्वनी कपूर और एसएसपी मोगा डा. अंकुर गुप्ता भी मौजूद थे. इन्होंने प्रेस कान्फ़्रेंस के दौरान अन्य विवरण साझा करते हुए बताया कि 1 किलो हेरोइन बरामदगी मामले की आगे की जांच के दौरान मोगा पुलिस ने बटाला के गांव गोखूवाल के निवासी सिमरनजोत संधू को मोगा के गांव भलूर से गिरफ्तार किया है।
‘आरोपी सिमरनजोत 2002 में जर्मनी गया था’
उन्होंने बताया कि आरोपी सिमरनजोत जो 2002 में जर्मनी गया था, टैक्सी चालक के तौर पर काम करता था. मार्च 2020 से जून 2020 के अरसे के दौरान उक्त आरोपी ने ब्राजील और अन्य दक्षिणी अमरीकी देशों से सप्लाई की जा रही कम से- कम 487 किलो कोकीन, 66 किलो मैरीओना और 10 किलोग्राम हशीश को हैम्बर्ग जर्मनी की बंदरगाह से उतारने के बाद उसको स्टोर और सप्लाई करने में अहम भूमिका निभाई। उन्होंने बताया कि वह एक एन्क्रिप्टेड मोबाइल एप ‘ऐनकरोचैट’ पर बातचीत करता था।
इस के बाद आरोपी को 28 फरवरी, 2022 को जर्मनी की अदालतों द्वारा नारकोटिक ड्रग्स एक्ट की धारा 29 के अंतर्गत 8 साल और 6 महीने की सजा सुनाई गई थी. इससे बचने के लिए वह पहले ही जुलाई 2023 में दुबई भाग गया और फिर सितम्बर 2023 में भारत आ गया।
आरोपी के जुटाई जा रही जानकारी
आईजीपी ने बताया कि आरोपी सिमरनजोत 11 महीनों से गिरफ्तारी से बचने के लिए अमृतसर, चंडीगढ़, राजस्थान, मोगा आदि समेत भारत में अलग- अलग स्थानों पर रह रहा था। उन्होंने कहा कि गिरफ़्तार किए गए आरोपी से भारत में उसकी गतिविधियों बारे जानने के लिए विस्तृत पूछताछ की जा रही है। इस संबंध में थाना अजीतवाल मोगा में ऐनडीपीऐस एक्ट की धारा 21 के अंतर्गत एफआईआर पहले ही दर्ज है।
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