
Dalai Lama : किरेन रिजिजू ने दलाई लामा के सपोर्ट में एक बयान दिया. किरेन रिजिजू ने कहा था कि लामा का फैसला दलाई लामा को अपने इच्छानुसार करना चाहिए. इसको लेकर चीन की प्रतिक्रिया आ गई है. चीन ने भारत से तिब्बत संबंधी मुद्दों पर सावधानी बरतने को कहा है.
चीन के प्रवक्ता ने कहा कि 14वें दलाई लामा की चीन विरोधी अलगाववादी प्रकृति के बारे में भारत को जानकारी होनी चाहिए और शिजांग (तिब्बत) से संबंधित मुद्दों पर अपनी प्रतिबद्धताओं का सम्मान करना चाहिए. चीन तिब्बत को शिजांग कहता है.
चीन के प्रवक्ता ने कहा कि भारत को अपने शब्दों और कामों को लेकर सावधानी बरतनी चाहिए और तिब्बत से संबंधित मुद्दों पर चीन के घरेलू मामलों में हस्तक्षेप करना बंद करना चाहिए. उन्होंने कहा कि भारत को चीन-भारत संबंधों के सुधार और विकास में रुकावट डालने से बचना चाहिए.
दलाई लामा की तरफ से ही लिया जाना चाहिए
किरेन रिजिजू ने गुरुवार को कहा था कि दलाई लामा के अवतार पर निर्णय स्थापित संस्था और तिब्बती बौद्धों के नेता यानी दलाई लामा की तरफ से ही लिया जाना चाहिए, किसी और के द्वारा नहीं. दलाई लामा की अपने उत्तराधिकार को लेकर टिप्पणी के बाद यह किसी भारतीय नेता की पहली प्रतिक्रिया थी.
दलाई लामा ने बुधवार को कहा था कि उनकी संस्था जारी रहेगी और केवल गादेन फोडरंग ट्रस्ट है. इसकी स्थापना की बात करें तो 2015 में उनके ऑफिस ने की थी. उनके भावी पुनजन्म को मान्यता देने का अधिकार प्राप्त है. बताते चलें कि दलाई लामा 90 साल के हो जाएंगे. अब उनको उत्तराधिकारी को लेकर सवाल खड़े हो रहे हैं. हालांकि उन्होंने अपनी किताब कहा कि नए दलाई लामा का जन्म चीन के बाहर होगा.
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