
Health News: बर्ड फ्लू, जिसे एवियन इन्फ्लूएंजा के नाम से जाना जाता है, आमतौर पर पक्षियों को संक्रमित करता था। हाल ही में वाशिंगटन के शेल्टन स्थित वाइल्ड फेलिड एडवोकेसी सेंटर में 20 बिल्लियों की मौत बर्ड फ्लू से हो गई, जिनमें चार बॉबकैट प्रजाति की बिल्लियां भी शामिल थीं। यह मामला इस ओर इशारा करता है कि यह वायरस अब पक्षियों के साथ अन्य जानवरों को भी प्रभावित कर रहा है।
एच5एन1 वायरस के कारण बीते कुछ वर्षों में लाखों पक्षियों की मौत हो चुकी है। अमेरिका में इस वायरस के मामले अब गायों और बिल्लियों तक पहुंच गए हैं। हालांकि, गायों में संक्रमण के मामले कम गंभीर थे। विशेषज्ञों के अनुसार, बिल्लियां संक्रमित पक्षियों, जानवरों या उनके उत्पादों जैसे दूध के संपर्क में आकर संक्रमित हो सकती हैं।
संक्रमण को नियंत्रित करने का प्रयास
वायरस के स्वरूप में बदलाव इसकी तेजी से फैलने की वजह हो सकता है। वैज्ञानिकों को इस पर गहन शोध करने की आवश्यकता है। इसके साथ ही, संक्रमण को नियंत्रित करने के प्रयास भी जरूरी हैं।
हालांकि, बर्ड फ्लू का संक्रमण जानवरों से इंसानों में बहुत कम देखने को मिलता है। लेकिन, जिन क्षेत्रों में यह वायरस सक्रिय है, वहां सावधानी बरतना अनिवार्य है। खासतौर पर पोल्ट्री फॉर्म में काम करने वाले लोगों को बीमार पक्षियों या जानवरों के संपर्क से बचना चाहिए और तुरंत स्वास्थ्य विभाग को सूचित करना चाहिए।
भारत में भी बर्ड फ्लू के मामले समय-समय पर सामने आते हैं, लेकिन अब तक ये केवल पक्षियों तक ही सीमित हैं। इसलिए, घबराने की बजाय सतर्क रहने की जरूरत है। संक्रमण के लक्षण दिखने पर स्वास्थ्य अधिकारियों को सूचित करना महत्वपूर्ण है, ताकि इसे नियंत्रित किया जा सके।
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