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COVID-19 3rd Wave: ICMR के मुताबिक कुछ राज्‍यों में बढ़ते कोरोना के मामले तीसरी लहर के संकेत

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नई दिल्‍ली। देश में कोरोना वायरस का खतरा एक बार फिर से दिख रहा है। कोरोना संक्रमण के मामलों में हर दिन उतार चढ़ाव देखने को मिल रहा है। कुछ राज्यों में कोरोना के केस तेजी से बढ़ रहे है।

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मंगलवार को जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक देश में पिछले 24 घंटे में कोरोना (Covid 19) के 30,941 नए मामले सामने आए हैं। वहीं कुछ राज्‍यों में कोरोना के मामले काफी चिंता का विषय हैं। इसे लेकर इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के एपिडिमियोलॉजी एंड कम्‍यूनिकेबल डिसीजेज के प्रमुख डॉ. समिरन पांडा ने कहा है कि जिन राज्‍यों में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर के दौरान भयावहता नहीं दिखी थी, उन राज्‍यों में अब कोरोना केस काफी बढ़ रहे हैं। यह कोरोना वायरस संक्रमण की तीसरी लहर की शुरुआती संकेत है।

डॉ पांडा ने बताई ये जरुरी बातें

वहीं, डॉ पांडा ने कहा कि यह जरुरी है कि समग्र रूप से भारत की बात न करें और इसके बजाय राज्य विशेष का दृष्टिकोण अपनाएं क्योंकि सभी राज्यों में हालात एक जैसे नहीं हैं। उनका कहना है कि कई राज्‍यों ने महाराष्‍ट्र और दिल्‍ली जैसे राज्‍यों से सीख लेते हुए कोविड 19 की पाबंदियां लगाना और टीकाकरण अभियान को बढ़ाना शुरू कर दिया था। इसकी वजह से कई राज्‍यों में कोरोना की दूसरी लहर गंभीर नहीं हो पाई। जिसके कारण तीसरी लहर की संभावना रह गई है।

इसके साथ ही डॉ. पांडा ने कहा कि मौजूदा समय में कुछ राज्‍यों में कोविड 19 केस की बढ़ती संख्या तीसरी लहर का संकेत दे रही है। उन्‍होंने कहा है कि सभी राज्‍यों को अपने यहां पहली और दूसरी लहर के दौरान कोरोना संक्रमण की संख्‍या और उसकी भयावहता का विश्‍लेषण करके तीसरी लहर से बचाव की रणनीति बनानी चाहिए।

कई राज्यों में स्‍कूलों को फिर से खोले जाने पर डॉ. पांडा ने कहा कि हमें इस बारे में चिंता करने की जरूरत नहीं है। चौथे राष्‍ट्रीय सीरोसर्वे में यह पता चल चुका है कि करीब 50 फीसदी बच्‍चे संक्रमित हैं। इसलिए हमें बिना वजह घबराने की जरूरत नहीं है।

इसके साथ ही पांडा ने कहा कि स्कूल खोलना सुरक्षित है या नहीं, यह सोचने से ज्यादा जरुरी है कि इसके लिए अच्छी तैयारी की जाए। उनका कहना है कि शिक्षकों, माता-पिता, सहायक कर्मचारियों, बस चालकों और कंडक्टरों को वैक्सीन लगाया जाना चाहिए। यह जरुरी है कि कोविड उपयुक्त व्यवहार (सीएबी) लागू किया जाए, और सीएबी का बताने वाली होर्डिंग लगाना भी जरूरी है।

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